अहमदाबाद में एयर इंडिया की फ्लाइट AI-171 के क्रैश की जांच को लेकर पायलट के पिता पुष्कराज सभरवाल और इंडियन पायलट्स फेडरेशन ने गुरुवार को सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की। इसमें कहा गया कि वे एयरक्राफ्ट एक्सीडेंट इन्वेस्टिगेशन ब्यूरो (AAIB) की जांच पर भरोसा खो चुके हैं। इसलिए हम स्वतंत्र जांच की मांग करते हैं। याचिकार्ताओं ने कोर्ट की निगरानी में जांच या कोर्ट ऑफ इन्क्वायरी की मांग की है। याचिकार्ताओं ने कहा कि नई टीम में स्वतंत्र स्पेश्लिस्ट और एविएशन एक्सपर्ट शामिल हों। अपील में कहा गया कि AAIB की सारी जांच बंद हो जाए और सारे सबूत कोर्ट की निगरानी वाली कमेटी को सौंप दिए जाए। सुप्रीम कोर्ट याचिका पर दिवाली के बाद सुनवाई करेगा। अहमदाबाद से लंदन जा रहा एअर इंडिया का बोइंग 787-8 विमान 12 जून को टेकऑफ के कुछ ही देर बाद एक मेडिकल हॉस्टल की इमारत से टकरा गया था। इसमें 270 लोगों की मौत हो गई थी। सुमीत सभरवाल फ्लाइट के मुख्य पायलट और क्लाइव कुंदर को-पायलट थे। AAIB ने अपनी रिपोर्ट में पायलट की गलती का जिक्र किया था AAIB की 12 जुलाई को आई प्रारंभिक रिपोर्ट में पायलट की गलती का जिक्र होने से परिवार और पायलट संगठनों में नाराजगी है। रिपोर्ट के मुताबिक, टेकऑफ के बाद फ्यूल कट-ऑफ स्विचेस को बंद कर दिया गया था, लेकिन कॉकपिट की ऑडियो से साफ नहीं हो रहा कि ऐसा क्यों हुआ। एक महीने पहले अहमदाबाद प्लेन क्रैश में मारे गए कैप्टन सुमीत सभरवाल के 91 साल के पिता पुष्करराज सभरवाल ने केंद्र सरकार से हादसे की नए सिरे से जांच की मांग की थी। उन्होंने एयरक्राफ्ट एक्सीडेंट इन्वेस्टिगेशन ब्यूरो (AAIB) की प्राइमरी जांच रिपोर्ट पर भी सवाल उठाए थे। 22 सितंबर : सुप्रीम कोर्ट ने कहा- पायलट की गलती की चर्चा अफसोसजनक सुप्रीम कोर्ट ने अहमदाबाद में हुए प्लेन क्रैश में पायलट की गलती को लेकर उठ रही चर्चाओं को अफसोसजनक बताया था। इसके लिए कोर्ट ने केंद्र सरकार, नागरिक उड्डयन महानिदेशालय (DGCA) और विमान दुर्घटना जांच ब्यूरो (AAIB) से जवाब भी मांगा था। जस्टिस सूर्यकांत और जस्टिस एन. कोटिश्वर सिंह की बैंच ने इस मामले में स्वतंत्र जांच करवाने की संभावना पर भी चर्चा की थी। पूरी खबर पढ़ें… 18 सितंबर: पायलट के पिता ने नागरिक उड्डयन मंत्रालय को लेटर लिखा था पुष्करराज ने नागरिक उड्डयन मंत्रालय को लेटर लिखकर कहा था कि मीडिया में कुछ चुनिंदा बातें लीक करके यह अटकलें लगाई जा रही हैं कि कैप्टन सभरवाल बहुत ज्यादा डिप्रेशन में थे और आत्महत्या करना चाहते थे। इन बातों से कैप्टन सभरवाल की प्रतिष्ठा धूमिल हुई है। मेरे स्वास्थ्य और मानसिक स्थिति पर भी बहुत गहरा असर पड़ा है। AAIB की रिपोर्ट से पहले अमेरिकी अखबार वॉल स्ट्रीट जर्नल की एक रिपोर्ट में दावा किया गया था कि पायलट ने स्विच बंद किया था। पुष्करराज बोले- बेटे से 25 सालों में एक भी दुर्घटना नहीं हुई
सुमीत सभरवाल के पिता ने लेटर में लिखा था कि सुमीत का 15 साल पहले तलाक हो गया था। उनकी मां को गुजरे तीन साल हो गए हैं। उसके बाद, कैप्टन सभरवाल ने बिना किसी हादसे के 100 से ज्यादा फ्लाइट्स ऑपरेट कीं। 25 सालों के करियर में, उनके साथ एक भी दुर्घटना नहीं हुई। उनके पिता ने कहा- सुमीत को 15,638 घंटों की उड़ान अनुभव था। वे एक पायलट प्रशिक्षक भी थे। मेरे बेटे के निजी जीवन की घटनाओं को तोड़-मरोड़कर पेश किया जा रहा है। मेरे बेटे पर शक पैदा करने वाली ऐसी कोई भी जानकारी मीडिया के साथ साझा नहीं किया जाना चाहिए। पायलट के पिता बोले- बोइंग ने सॉफ्टवेयर बदलाव छिपाए थे
पुष्कराज सभरवाल ने विमान बनाने वाली कंपनी बोइंग पर भी सवाल उठाए और कहा कि हाल ही में बोइंग के दो विमान हादसे का शिकार हुए हैं। इनमें एक इथियोपियन एयरलाइंस का विमान था। इस हादसे के बाद अमेरिकी जांच में पाया गया था कि बोइंग ने फ्लाइट ऑपरेशन सॉफ्टवेयर में कुछ बदलाव किए थे और पायलटों से यह बात छिपाई थी। पुष्कराज ने मांग की है कि केंद्र सरकार विमान (दुर्घटनाओं और घटनाओं की जांच) नियम, 2017 के नियम 12 के तहत प्लेन क्रैश की औपचारिक जांच का आदेश दे। इस नियम के तहत, केंद्र को भारतीय पंजीकृत विमान की किसी भी हादसे की औपचारिक जांच करने का अधिकार है। पायलट संगठन ने कहा था- पायलटों की छवि खराब करने की कोशिश
एअर इंडिया के विमान हादसे की शुरुआती जांच रिपोर्ट को लेकर पायलटों के संगठन फेडरेशन ऑफ इंडियन पायलट्स (FIP) ने आपत्ति जताई थी। संगठन ने कहा था कि बिना पूरी और पारदर्शी जांच के पायलटों पर दोष डालना जल्दबाजी और गैर-जिम्मेदाराना है। FIP अध्यक्ष सीएस रंधावा ने कहा था कि पायलट संगठनों को जांच में शामिल नहीं किया गया और रिपोर्ट को जिस तरह से पेश किया गया है, वह एकतरफा और अधूरी है। उन्होंने कहा कि रिपोर्ट में सिर्फ कॉकपिट की बातचीत के कुछ हिस्सों को चुनकर पेश किया गया है और पायलटों की छवि खराब करने की कोशिश हो रही है। प्लेन क्रैश में पूर्व CM विजय रूपाणी का भी निधन हुआ था
एअर इंडिया की उड़ान संख्या AI 171 अहमदाबाद से लंदन जा रही थी। इसमें 169 भारतीय, 53 ब्रिटिश, 7 पुर्तगाली और एक कनाडाई नागरिक समेत कुल 230 यात्री सवार थे। इनमें 103 पुरुष, 114 महिलाएं, 11 बच्चे और 2 नवजात शामिल थे। बाकी 12 क्रू मेंबर्स थे। हादसे में गुजरात के पूर्व मुख्यमंत्री विजय रूपाणी का भी निधन हो गया था। ………………………. फ्लाइट से जुड़ी ये खबर भी पढ़ें… इंडिगो फ्लाइट की विंडशील्ड टूटी, 3 दिन में दूसरा मामला:75 यात्री सुरक्षित उतरे; विमान तूतीकोरिन से चेन्नई जा रहा था एयरलाइन कंपनी इंडिगो की एक फ्लाइट की मंगलवार को विंडशील्ड (सामने का शीशा) टूट गई थी। हालांकि विमान की सुरक्षित लैंडिंग हुई। फ्लाइट में 75 पैसेंजर्स सवार थे। इससे पहले 11 अक्टूबर को मदुरै से चेन्नई आ रही इंडिगो फ्लाइट की विंडशील्ड टूट गई थी। फ्लाइट नंबर 6E1607 तमिलनाडु के तूतीकोरिन से चेन्नई की ओर जा रही थी। तभी पायलटों ने विंडशील्ड पर दरार देखी। क्रू मेंबर्स ने इसकी जानकारी ग्राउंड कंट्रोल को दी। चेन्नई एयरपोर्ट पर लोकल स्टैंडबाय (सेफ लैंडिंग) की व्यवस्था की गई। पूरी खबर पढ़ें…
अहमदाबाद में एयर इंडिया की फ्लाइट AI-171 के क्रैश की जांच को लेकर पायलट के पिता पुष्कराज सभरवाल और इंडियन पायलट्स फेडरेशन ने गुरुवार को सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की। इसमें कहा गया कि वे एयरक्राफ्ट एक्सीडेंट इन्वेस्टिगेशन ब्यूरो (AAIB) की जांच पर भरोसा खो चुके हैं। इसलिए हम स्वतंत्र जांच की मांग करते हैं। याचिकार्ताओं ने कोर्ट की निगरानी में जांच या कोर्ट ऑफ इन्क्वायरी की मांग की है। याचिकार्ताओं ने कहा कि नई टीम में स्वतंत्र स्पेश्लिस्ट और एविएशन एक्सपर्ट शामिल हों। अपील में कहा गया कि AAIB की सारी जांच बंद हो जाए और सारे सबूत कोर्ट की निगरानी वाली कमेटी को सौंप दिए जाए। सुप्रीम कोर्ट याचिका पर दिवाली के बाद सुनवाई करेगा। अहमदाबाद से लंदन जा रहा एअर इंडिया का बोइंग 787-8 विमान 12 जून को टेकऑफ के कुछ ही देर बाद एक मेडिकल हॉस्टल की इमारत से टकरा गया था। इसमें 270 लोगों की मौत हो गई थी। सुमीत सभरवाल फ्लाइट के मुख्य पायलट और क्लाइव कुंदर को-पायलट थे। AAIB ने अपनी रिपोर्ट में पायलट की गलती का जिक्र किया था AAIB की 12 जुलाई को आई प्रारंभिक रिपोर्ट में पायलट की गलती का जिक्र होने से परिवार और पायलट संगठनों में नाराजगी है। रिपोर्ट के मुताबिक, टेकऑफ के बाद फ्यूल कट-ऑफ स्विचेस को बंद कर दिया गया था, लेकिन कॉकपिट की ऑडियो से साफ नहीं हो रहा कि ऐसा क्यों हुआ। एक महीने पहले अहमदाबाद प्लेन क्रैश में मारे गए कैप्टन सुमीत सभरवाल के 91 साल के पिता पुष्करराज सभरवाल ने केंद्र सरकार से हादसे की नए सिरे से जांच की मांग की थी। उन्होंने एयरक्राफ्ट एक्सीडेंट इन्वेस्टिगेशन ब्यूरो (AAIB) की प्राइमरी जांच रिपोर्ट पर भी सवाल उठाए थे। 22 सितंबर : सुप्रीम कोर्ट ने कहा- पायलट की गलती की चर्चा अफसोसजनक सुप्रीम कोर्ट ने अहमदाबाद में हुए प्लेन क्रैश में पायलट की गलती को लेकर उठ रही चर्चाओं को अफसोसजनक बताया था। इसके लिए कोर्ट ने केंद्र सरकार, नागरिक उड्डयन महानिदेशालय (DGCA) और विमान दुर्घटना जांच ब्यूरो (AAIB) से जवाब भी मांगा था। जस्टिस सूर्यकांत और जस्टिस एन. कोटिश्वर सिंह की बैंच ने इस मामले में स्वतंत्र जांच करवाने की संभावना पर भी चर्चा की थी। पूरी खबर पढ़ें… 18 सितंबर: पायलट के पिता ने नागरिक उड्डयन मंत्रालय को लेटर लिखा था पुष्करराज ने नागरिक उड्डयन मंत्रालय को लेटर लिखकर कहा था कि मीडिया में कुछ चुनिंदा बातें लीक करके यह अटकलें लगाई जा रही हैं कि कैप्टन सभरवाल बहुत ज्यादा डिप्रेशन में थे और आत्महत्या करना चाहते थे। इन बातों से कैप्टन सभरवाल की प्रतिष्ठा धूमिल हुई है। मेरे स्वास्थ्य और मानसिक स्थिति पर भी बहुत गहरा असर पड़ा है। AAIB की रिपोर्ट से पहले अमेरिकी अखबार वॉल स्ट्रीट जर्नल की एक रिपोर्ट में दावा किया गया था कि पायलट ने स्विच बंद किया था। पुष्करराज बोले- बेटे से 25 सालों में एक भी दुर्घटना नहीं हुई
सुमीत सभरवाल के पिता ने लेटर में लिखा था कि सुमीत का 15 साल पहले तलाक हो गया था। उनकी मां को गुजरे तीन साल हो गए हैं। उसके बाद, कैप्टन सभरवाल ने बिना किसी हादसे के 100 से ज्यादा फ्लाइट्स ऑपरेट कीं। 25 सालों के करियर में, उनके साथ एक भी दुर्घटना नहीं हुई। उनके पिता ने कहा- सुमीत को 15,638 घंटों की उड़ान अनुभव था। वे एक पायलट प्रशिक्षक भी थे। मेरे बेटे के निजी जीवन की घटनाओं को तोड़-मरोड़कर पेश किया जा रहा है। मेरे बेटे पर शक पैदा करने वाली ऐसी कोई भी जानकारी मीडिया के साथ साझा नहीं किया जाना चाहिए। पायलट के पिता बोले- बोइंग ने सॉफ्टवेयर बदलाव छिपाए थे
पुष्कराज सभरवाल ने विमान बनाने वाली कंपनी बोइंग पर भी सवाल उठाए और कहा कि हाल ही में बोइंग के दो विमान हादसे का शिकार हुए हैं। इनमें एक इथियोपियन एयरलाइंस का विमान था। इस हादसे के बाद अमेरिकी जांच में पाया गया था कि बोइंग ने फ्लाइट ऑपरेशन सॉफ्टवेयर में कुछ बदलाव किए थे और पायलटों से यह बात छिपाई थी। पुष्कराज ने मांग की है कि केंद्र सरकार विमान (दुर्घटनाओं और घटनाओं की जांच) नियम, 2017 के नियम 12 के तहत प्लेन क्रैश की औपचारिक जांच का आदेश दे। इस नियम के तहत, केंद्र को भारतीय पंजीकृत विमान की किसी भी हादसे की औपचारिक जांच करने का अधिकार है। पायलट संगठन ने कहा था- पायलटों की छवि खराब करने की कोशिश
एअर इंडिया के विमान हादसे की शुरुआती जांच रिपोर्ट को लेकर पायलटों के संगठन फेडरेशन ऑफ इंडियन पायलट्स (FIP) ने आपत्ति जताई थी। संगठन ने कहा था कि बिना पूरी और पारदर्शी जांच के पायलटों पर दोष डालना जल्दबाजी और गैर-जिम्मेदाराना है। FIP अध्यक्ष सीएस रंधावा ने कहा था कि पायलट संगठनों को जांच में शामिल नहीं किया गया और रिपोर्ट को जिस तरह से पेश किया गया है, वह एकतरफा और अधूरी है। उन्होंने कहा कि रिपोर्ट में सिर्फ कॉकपिट की बातचीत के कुछ हिस्सों को चुनकर पेश किया गया है और पायलटों की छवि खराब करने की कोशिश हो रही है। प्लेन क्रैश में पूर्व CM विजय रूपाणी का भी निधन हुआ था
एअर इंडिया की उड़ान संख्या AI 171 अहमदाबाद से लंदन जा रही थी। इसमें 169 भारतीय, 53 ब्रिटिश, 7 पुर्तगाली और एक कनाडाई नागरिक समेत कुल 230 यात्री सवार थे। इनमें 103 पुरुष, 114 महिलाएं, 11 बच्चे और 2 नवजात शामिल थे। बाकी 12 क्रू मेंबर्स थे। हादसे में गुजरात के पूर्व मुख्यमंत्री विजय रूपाणी का भी निधन हो गया था। ………………………. फ्लाइट से जुड़ी ये खबर भी पढ़ें… इंडिगो फ्लाइट की विंडशील्ड टूटी, 3 दिन में दूसरा मामला:75 यात्री सुरक्षित उतरे; विमान तूतीकोरिन से चेन्नई जा रहा था एयरलाइन कंपनी इंडिगो की एक फ्लाइट की मंगलवार को विंडशील्ड (सामने का शीशा) टूट गई थी। हालांकि विमान की सुरक्षित लैंडिंग हुई। फ्लाइट में 75 पैसेंजर्स सवार थे। इससे पहले 11 अक्टूबर को मदुरै से चेन्नई आ रही इंडिगो फ्लाइट की विंडशील्ड टूट गई थी। फ्लाइट नंबर 6E1607 तमिलनाडु के तूतीकोरिन से चेन्नई की ओर जा रही थी। तभी पायलटों ने विंडशील्ड पर दरार देखी। क्रू मेंबर्स ने इसकी जानकारी ग्राउंड कंट्रोल को दी। चेन्नई एयरपोर्ट पर लोकल स्टैंडबाय (सेफ लैंडिंग) की व्यवस्था की गई। पूरी खबर पढ़ें…