
कठुआ। बिरवां पंचायत के टारना गांव में बंदरों के बढ़ते उत्पात ने ग्रामीणों को सड़क पर उतरने को मजबूर कर दिया। वीरवार को ओल्ड सांबा-कठुआ रोड पर युवाओं, महिलाओं और विद्यार्थियों ने वन्यजीव विभाग के खिलाफ प्रदर्शन कर बंदरों से निजात दिलाने की मांग की। ग्रामीणों ने एक घंटे तक सड़क को जाम रखा।
सूचना मिलते ही नगरी पुलिस और तहसील प्रशासन मौके पर पहुंचे और कार्रवाई का आश्वासन दिया। इसके बाद मार्ग खोला गया और वाहनों की आवाजाही बहाल हो सकी। ग्रामीणों ने चेतावनी दी है कि यदि जल्द कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया तो वे मजबूरन और उग्र प्रदर्शन करेंगे जिसकी पूरी जिम्मेदारी संबंधित विभाग की होगी।
मीना देवी, संजीव वर्मा और मनीष चंद्र ने बताया कि गांव के मंदिर में पहले से बंदर रहते आए हैं लेकिन पिछले एक साल में इनकी संख्या में भारी बढ़ोतरी हुई है। अब ये झुंड न केवल मंदिर में आने वाले भक्तों पर हमला करते हैं बल्कि घरों में घुसकर बच्चों को निशाना बना रहे हैं। बीते छह महीनों में दर्जनों बच्चे इनका शिकार बन चुके हैं जिससे अब बच्चे स्कूल जाने और बाहर खेलने से भी डरने लगे हैं। सैकड़ों की संख्या में बंदर गांव में स्वच्छंद घूमते हैं और लोगों पर अचानक हमला कर देते हैं। गत बुधवार को गांव की एक बच्ची के चेहरे पर बंदरों ने हमला किया जिससे उसकी आंख को भी नुकसान पहुंच सकता था। इस गंभीर समस्या की जानकारी कई बार वन्यजीव विभाग को दी गई लेकिन हर बार विभाग ने कोई ठोस कार्रवाई नहीं की। गत दिवस भी विभाग के अधिकारी ने स्वास्थ्य कारणों का हवाला देकर जिम्मेदारी से पल्ला झाड़ लिया।