राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू आज अपने तीन दिवसीय उत्तराखंड दौरे के तहत देहरादून पहुंचीं। यहां राष्ट्रपति ने डेढ़ बजे के करीब राजपुर रोड पर स्थित राष्ट्रपति निकेतन में फुट ओवर ब्रिज का उद्घाटन किया। राष्ट्रपति निकेतन में उन्होंने अंतर्राष्ट्रीय साहित्य, संस्कृति और कला महोत्सव के प्रतिभागियों के साथ बातचीत कीं। राष्ट्रपति आज राजभवन में ही रात्रि विश्राम करेंगी। इसके बाद कल वो यानी तीन नवंबर को राष्ट्रपति उत्तराखंड राज्य स्थापना की रजत जयंती पर आयोजित विधानसभा के विशेष सत्र को 11 बजे संबोधित करेंगी। उसके बाद शाम को नैनीताल स्थित राजभवन में कार्यक्रम में शामिल होंगी। राष्ट्रपति ने पतंजलि यूनिवर्सिटी में डिग्रियां दी इससे पहले राष्ट्रपति हरिद्वार में पतंजलि यूनिवर्सिटी के दीक्षांत समारोह में पहुंचीं, जहां बाबा रामदेव और आचार्य बालकृष्ण ने उनका स्वागत किया। राष्ट्रपति ने दीक्षांत में 54 स्टूडेंट्स को गोल्ड मेडल पहनाए। इसके साथ ही 62 शोधार्थियों को पीएचडी, तीन विद्वानों को डी. लिट. की उपाधि के अलावा 744 ग्रेजुएशन एवं 615 पोस्ट ग्रेजुएशन समेत 1424 स्टूडेंट्स को डिग्रियां दी। इस दौरान सीएम सीएम पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि दुनिया ने देखा कि कैसे राष्ट्रपति राफेल में सवार हुई और उड़ान भरी, जो पूरे देश के लिए प्रेरणादायक तस्वीर थी। उत्तराखंड के 25 साल पूरे होने पर आप यहां पहुंचें इसके लिए मैं आपका कोटी-कोटी आभार व्यक्त करता हूं। राष्ट्रपति ने बच्चों को श्रीमद्भागवत गीता के अध्याय के बारे में बताया राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने स्टूडेंट्स को संबोधित करते हुए कहा कि आज मुझे खुशी हुई कि जन लोगों को मैंने डिग्रियां दी, उनमें 64% संख्या लड़कियों की है। यह केवल संख्या नहीं है, यह महिलाओं के नेतृत्व में आगे बढ़ने वाले विकसित भारत का अग्रिम स्वरूप है। मुझे विश्वास है कि हमारी शिक्षित बेटियां अपनी आंतरिक शक्ति और प्रतिभा से भारत माता का गौरव बढ़ाएंगी। राष्ट्रपति ने कहा कि श्रीमद्भागवत गीता के एक अध्याय में, भगवान श्रीकृष्ण ने, दैवी सद्गुणों और समृद्धियों के विषय में भी बताया है। उन्होंने दैवी सद्गुणों में ‘स्वाध्याय: तप आर्जवम्’ को शामिल किया है। स्वाध्याय का अर्थ है – निष्ठापूर्वक अध्ययन एवं मनन। तप का अर्थ है – कष्ट सहते हुए भी अपने कर्तव्य का पालन करना। आर्जवम् का अर्थ है – अन्तःकरण एवं आचरण की सरलता। दीक्षांत के बाद भी, स्वाध्याय (स्वयं का अध्ययन करना) की प्रक्रिया में आपको आजीवन संलग्न रहना है। तपस्या और सरलता, जीवन को शक्ति देने वाले मूल्य हैं। मैं आशा करती हूं कि आप सभी विद्यार्थी-गण स्वाध्याय, तपस्या एवं सरलता के जीवन-मूल्यों को अपनाकर अपने जीवन को सार्थक बनाएंगे।। जौलीग्रांट एयरपोर्ट पर रिसीव करने पहुंचे सीएम इससे पहले राष्ट्रपति सुबह सवा दस बजे हेलिकॉप्टर से देहरादून के जौलीग्रांट एयरपोर्ट पहुंचीं। यहां राज्यपाल पूर्व लेफ्टिनेंट जनरल गुरमीत सिंह और सीएम पुष्कर सिंह धामी ने अधिकारियों सहित उनका स्वागत किया। पतंजलि यूनिवर्सिटी के दीक्षांत समारोह में राज्य के कई कैबिनेट मंत्री, शिक्षाविद, एवं देशभर से आए छात्र-छात्राएं दिखाई दिए। हरिद्वार में सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए गए हैं और प्रशासन ने शहर के मुख्य मार्गों पर विशेष ट्रैफिक व्यवस्था लागू की है।
राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू आज अपने तीन दिवसीय उत्तराखंड दौरे के तहत देहरादून पहुंचीं। यहां राष्ट्रपति ने डेढ़ बजे के करीब राजपुर रोड पर स्थित राष्ट्रपति निकेतन में फुट ओवर ब्रिज का उद्घाटन किया। राष्ट्रपति निकेतन में उन्होंने अंतर्राष्ट्रीय साहित्य, संस्कृति और कला महोत्सव के प्रतिभागियों के साथ बातचीत कीं। राष्ट्रपति आज राजभवन में ही रात्रि विश्राम करेंगी। इसके बाद कल वो यानी तीन नवंबर को राष्ट्रपति उत्तराखंड राज्य स्थापना की रजत जयंती पर आयोजित विधानसभा के विशेष सत्र को 11 बजे संबोधित करेंगी। उसके बाद शाम को नैनीताल स्थित राजभवन में कार्यक्रम में शामिल होंगी। राष्ट्रपति ने पतंजलि यूनिवर्सिटी में डिग्रियां दी इससे पहले राष्ट्रपति हरिद्वार में पतंजलि यूनिवर्सिटी के दीक्षांत समारोह में पहुंचीं, जहां बाबा रामदेव और आचार्य बालकृष्ण ने उनका स्वागत किया। राष्ट्रपति ने दीक्षांत में 54 स्टूडेंट्स को गोल्ड मेडल पहनाए। इसके साथ ही 62 शोधार्थियों को पीएचडी, तीन विद्वानों को डी. लिट. की उपाधि के अलावा 744 ग्रेजुएशन एवं 615 पोस्ट ग्रेजुएशन समेत 1424 स्टूडेंट्स को डिग्रियां दी। इस दौरान सीएम सीएम पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि दुनिया ने देखा कि कैसे राष्ट्रपति राफेल में सवार हुई और उड़ान भरी, जो पूरे देश के लिए प्रेरणादायक तस्वीर थी। उत्तराखंड के 25 साल पूरे होने पर आप यहां पहुंचें इसके लिए मैं आपका कोटी-कोटी आभार व्यक्त करता हूं। राष्ट्रपति ने बच्चों को श्रीमद्भागवत गीता के अध्याय के बारे में बताया राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने स्टूडेंट्स को संबोधित करते हुए कहा कि आज मुझे खुशी हुई कि जन लोगों को मैंने डिग्रियां दी, उनमें 64% संख्या लड़कियों की है। यह केवल संख्या नहीं है, यह महिलाओं के नेतृत्व में आगे बढ़ने वाले विकसित भारत का अग्रिम स्वरूप है। मुझे विश्वास है कि हमारी शिक्षित बेटियां अपनी आंतरिक शक्ति और प्रतिभा से भारत माता का गौरव बढ़ाएंगी। राष्ट्रपति ने कहा कि श्रीमद्भागवत गीता के एक अध्याय में, भगवान श्रीकृष्ण ने, दैवी सद्गुणों और समृद्धियों के विषय में भी बताया है। उन्होंने दैवी सद्गुणों में ‘स्वाध्याय: तप आर्जवम्’ को शामिल किया है। स्वाध्याय का अर्थ है – निष्ठापूर्वक अध्ययन एवं मनन। तप का अर्थ है – कष्ट सहते हुए भी अपने कर्तव्य का पालन करना। आर्जवम् का अर्थ है – अन्तःकरण एवं आचरण की सरलता। दीक्षांत के बाद भी, स्वाध्याय (स्वयं का अध्ययन करना) की प्रक्रिया में आपको आजीवन संलग्न रहना है। तपस्या और सरलता, जीवन को शक्ति देने वाले मूल्य हैं। मैं आशा करती हूं कि आप सभी विद्यार्थी-गण स्वाध्याय, तपस्या एवं सरलता के जीवन-मूल्यों को अपनाकर अपने जीवन को सार्थक बनाएंगे।। जौलीग्रांट एयरपोर्ट पर रिसीव करने पहुंचे सीएम इससे पहले राष्ट्रपति सुबह सवा दस बजे हेलिकॉप्टर से देहरादून के जौलीग्रांट एयरपोर्ट पहुंचीं। यहां राज्यपाल पूर्व लेफ्टिनेंट जनरल गुरमीत सिंह और सीएम पुष्कर सिंह धामी ने अधिकारियों सहित उनका स्वागत किया। पतंजलि यूनिवर्सिटी के दीक्षांत समारोह में राज्य के कई कैबिनेट मंत्री, शिक्षाविद, एवं देशभर से आए छात्र-छात्राएं दिखाई दिए। हरिद्वार में सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए गए हैं और प्रशासन ने शहर के मुख्य मार्गों पर विशेष ट्रैफिक व्यवस्था लागू की है।